हड़सर, उलांसा और गरोला के 250 परिवारों को एसटी का दर्जा देने की कवायद शुरू

विधानसभा सत्र में भरमौर के विधायक डॉ. जनक राज ने इस मुद्दे को उठाया था। इसके बाद अब शिमला से भरमौर विधानसभा क्षेत्र में एक टीम एसटी के दर्जे से महरूम परिवारों का सर्वेक्षण करने पहुंची है।
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जनजातीय क्षेत्र भरमौर में रहने के बावजूद भी जनजातीय सुविधाओं से महरूम 250 परिवारों में अब अनुसूचित जनजाति (एसटी) का दर्जा मिलने की उम्मीद जागी है। हाल ही में संपन्न हुए विधानसभा सत्र में भरमौर के विधायक डॉ. जनक राज ने इस मुद्दे को उठाया था। विधानसभा में यह मुद्दा गूंजने के बाद अब शिमला से भरमौर विधानसभा क्षेत्र में एक टीम एसटी के दर्जे से महरूम परिवारों का सर्वेक्षण करने पहुंची है।

भरमौर। जनजातीय क्षेत्र भरमौर में रहने के बावजूद भी जनजातीय सुविधाओं से महरूम 250 परिवारों में अब अनुसूचित जनजाति (एसटी) का दर्जा मिलने की उम्मीद जागी है। हाल ही में संपन्न हुए विधानसभा सत्र में भरमौर के विधायक डॉ. जनक राज ने इस मुद्दे को उठाया था। विधानसभा में यह मुद्दा गूंजने के बाद अब शिमला से भरमौर विधानसभा क्षेत्र में एक टीम एसटी के दर्जे से महरूम परिवारों का सर्वेक्षण करने पहुंची है।

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यह टीम उन सभी परिवारों के पास जा रही है, जो जनजातीय क्षेत्र में रहते हैं, लेकिन उन्हें एसटी का दर्जा नहीं मिला है। इसकी वजह से उन्हें जनजातीय क्षेत्र में मिलने वाली सुविधाओं का लाभ नहीं मिल सका। इन परिवारों ने मणिमहेश ट्रस्ट की बैठकों से लेकर अन्य सभी प्रशासनिक और पंचायतों की बैठकों में इस मुद्दे को उठाया। मगर किसी ने भी इस मुद्दे को लेकर गंभीरता नहीं दिखाई।

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विधानसभा चुनावों के दौरान डॉ. जनक राज ने इन परिवारों से वायदा किया था कि वह चुनाव जीतने के उपरांत इस मुद्दे को विधानसभा में उठाएंगे। अपने इस वायदे को पूरा करते हुए पहले विधानसभा सत्र में उन्होंने यह मुद्दा जोर शोर से उठाया। इसके परिणामस्वरूप शिमला से एक टीम इन परिवारों का सर्वेक्षण करने के लिए भरमौर पहुंची है।

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हड़सर के पुजारी, उलांसा और गरोला क्षेत्रों में तकरीबन 250 परिवार ऐसे हैं जोकि रहते तो जनजातीय क्षेत्र हैं। लेकिन अभी उन्हें अनुसूचित जनजाति का दर्जा नहीं दिया गया है। अब इन परिवारों को जनजाति का दर्जा मिलने की उम्मीद जगी है। विधायक डॉक्टर जनक राज ने बताया कि इन परिवारों को अनुसूचित जनजाति का दर्जा मिलना आवश्यक है। इसको लेकर उन्होंने विधानसभा में सवाल किया है। तथा इस मुद्दे को जल्द ही वह प्रशासन और सरकार के समक्ष भी उठाएंगे।
 

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हड़सर, गरोला और उलांसा में लोगों की राय पूछने के लिए राज्य से टीम भरमौर आई है, जोकि लोगों से अब तक अनुसूचित जनजाति से वंचित रहने के कारणों को लेकर पूछताछ कर रही है तथा लोगों की राय भी ले रही है। -कुलबीर सिंह राणा, एसडीएम, भरमौर

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