Himachal Political Crisis : कांग्रेस ने बनाई समन्वय समिति, क्या खत्म होगा संकट?

Himachal Political Crisis : हिमाचल प्रदेश में सियासी संकट के बीच कांग्रेस ने छह सदस्यीय समन्वय समिति (Congress Coordination Committee) गठित की है। यह कमेटी सरकार और संगठन के बीच तालमेल बिठाने का काम करेगी।
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हिमाचल प्रदेश में सियासी संकट के बीच कांग्रेस ने छह सदस्यीय समन्वय समिति (Congress Coordination Committee) गठित की है। यह कमेटी सरकार और संगठन के बीच तालमेल बिठाने का काम करेगी। कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव केसी वेणुगोपाल ने रविवार को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि खुद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने समन्वय समिति (Congress Coordination Committee) के सदस्यों के नाम को मंजूरी दी है। वहीं एक बागी विधायक के पिता और निर्दलीय पर केस दर्ज होने के बाद सियासत गरमा गई है। 

वेब डेस्क। हिमाचल प्रदेश में सियासी संकट के बीच कांग्रेस ने छह सदस्यीय समन्वय समिति (Congress Coordination Committee) गठित की है। यह कमेटी सरकार और संगठन के बीच तालमेल बिठाने का काम करेगी। कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव केसी वेणुगोपाल ने रविवार को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि खुद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने समन्वय समिति (Congress Coordination Committee) के सदस्यों के नाम को मंजूरी दी है। वहीं एक बागी विधायक के पिता और निर्दलीय पर केस दर्ज होने के बाद सियासत गरमा गई है। 

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समन्वय समिति में प्रदेश कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष प्रतिभा सिंह को भी स्थान दिया गया है। इसके अलावा मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू, उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री, स्वास्थ्य मंत्री धनीराम सांडिल,  कौल सिंह ठाकुर और रामलाल ठाकुर शामिल हैं। गौरतलब है कि कांग्रेस की ओर से यह कमेटी ऐसे वक्त में गठित की गई है, जब हिमाचल में बागियों के साथ गतिरोध बरकरार है। यही नहीं बागी विधायकों समेत तीन निर्दलीय विधायक भी उत्तराखंड के एक होटल में पहुंच गए हैं। 

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वहीं, कांग्रेस विधायक संजय अवस्थी और भुवनेश्वर गौड़ ने हमीरपुर के निर्दलीय विधायक आशीष शर्मा और गगरेट से कांग्रेस विधायक चैतन्य शर्मा के पिता के पिता सहित अन्य के खिलाफ मामला दर्ज करवाया है। हिमाचल प्रदेश पुलिस ने शिकायत के आधार पर निर्दलीय विधायक आशीष शर्मा और गगरेट के अब अयोग्य करार दिए जा चुके विधायक चैतन्य शर्मा के पिता एवं अन्य के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। आरोपी विधायकों पर आपराधिक साजिश, भ्रष्टाचार और चुनाव पर अनुचित प्रभाव डालने के आरोप लगाए हैं।

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इस बीच सोलन के दाड़लाघाट में मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा है कि वे राजनीतिक चुनौतियों से डरने वाले नहीं हैं। उन्होंने भाजपा पर हिमाचल प्रदेश की लोकतांत्रिक प्रक्रिया को कमजोर करने के लिए अनुचित तरीके अपनाने का आरोप लगाया। सीएम सुक्खू ने कहा कि हम हर चुनौती का मजबूती से मुकाबला करेंगे। 

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आपको बता दें कि हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा चुनाव के बाद से ही राजनीतिक उथल-पुथल जारी है। कांग्रेस के छह और तीन निर्दलीय विधायक भाजपा के संपर्क में बताए जा रहे हैं। हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में राज्यसभा चुनाव के दौरान पार्टी के खिलाफ वोट करने वाले कांग्रेस के छह विधायक उत्तराखंड के एक होटल में चले गए हैं। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने विद्रोह करने वाले विधायकों पर पलटवार करते हुए कहा कि उन्हें भारतीय जनता पार्टी के द्वारा गाइड किया जा रहा है।

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राज्यसभा चुनाव में हुई थी क्रॉस वोटिंग

बता दें कि कांग्रेस बागी विधायकों बड़सर से इंद्रदत्त लखनपाल, धर्मशाला से सुधीर शर्मा, सुजानपुर से राजेंद्र राणा, लाहौल-स्पिति से रवि ठाकुर, गगरेट से चैतन्य शर्मा और कुटलैहड़ से देवेंद्र भुट्टो ने हाल में हुए राज्यसभा चुनाव में भाजपा के हर्ष महाजन के पक्ष में क्रॉस वोटिंग की थी। कांग्रेस के उम्मीदवार अभिषेक मनु सिंघवी को हार का सामना करना पड़ा था। स्पीकर ने राज्य के बजट पर पार्टी व्हिप का उल्लंघन करने के लिए सभी बागी विधायकों को अयोग्य घोषित कर दिया है।

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