चिंताजनकः ये कोरोना काल और बिना स्टाफ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बेहाल

भरमौर। जिला चम्बा में रोजाना कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं। स्थिति चिंताजनक होती जा रही है। जनता बेहाल और लाचार-सी हो चुकी है। इसी बीच स्वास्थ्य केंद्रों की व्यवस्था भी काफी बदहाल हो चुकी है। न तो स्वास्थ्य केंद्रों में पर्याप्त स्टाफ और न ही अन्य व्यवस्था। ऐसे में इस कोरोना काल में
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चिंताजनकः ये कोरोना काल और बिना स्टाफ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बेहाल

भरमौर। जिला चम्बा में रोजाना कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं। स्थिति चिंताजनक होती जा रही है। जनता बेहाल और लाचार-सी हो चुकी है। इसी बीच स्वास्थ्य केंद्रों की व्यवस्था भी काफी बदहाल हो चुकी है। न तो स्वास्थ्य केंद्रों में पर्याप्त स्टाफ और न ही अन्य व्यवस्था। ऐसे में इस कोरोना काल में बिना स्टाफ के स्वास्थ्य केंद्र भी बेहाल हो चुके हैं। कुछ ऐसा ही हाल है जनजातीय क्षेत्र भरमौर के गरोला प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का। इस स्वास्थ्य केंद्र में सरकार की ओर से 16 पद स्वीकृत हैं, लेकिन आलम यह है कि एक ही पद भरा हुआ है।

 

चिंताजनकः ये कोरोना काल और बिना स्टाफ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बेहाल

 

प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र गरोला मात्र एक मेडिकल ऑफिसर के सहारे चला है। न तो स्वास्थ्य केंद्र में फार्मासिस्ट हैं और न ही स्टाफ नर्स। लैब से लेकर हर तरह के कामकाज मेडिकल ऑफिसर को ही देखने पड़ रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग ने इस डॉक्टर को केवल एक लैब टैक्नीशियन दिया है। इस स्वास्थ्य केंद्र को कुछ वर्ष पहले जेएसडब्ल्यू जलविद्युत कम्पनी ने एक अत्याधुनिक तकनीक से लैस एक टेस्ट मशीन दी थी। वो भी स्टाफ के अभाव में धूल फाँक रही है।

 

 

स्थानीय लोगों ने सरकार से मांग की है कि कम से इस महामारी में तो खाली पदों को भरा जाए। ताकि लोगों को इस स्वास्थ्य केंद्र का लाभ मिल सके। उन्होंने कहा कि गरोला प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र स्टाफ के अभाव में सफेद हाथी बन चुका है। न तो यहां चिकित्सा स्टाफ है और न ही अन्य कोई व्यवस्था। ऐसे में क्षेत्र के लोगों के काफी परेशानी हो रही है।


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