Breaking News: हिमाचल में चुनाव आचार संहिता लागू, 12 नवंबर को मतदान, 8 दिसंबर को नतीजे, ये पढ़े पूरी जानकारी......

चुनाव आयोग ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर हिमाचल प्रदेश के चुनावी कार्यक्रम का एलान कर दिया। मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने मीडिया से बातचीत में बताया कि हिमाचल में 55 लाख मतदाता 12 नवंबर को मतदान करेंगे। इसके बाद 8 दिसंबर को मतगणना के बाद नतीजे घोषित कर दिए जाएंगे।  
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शिमला ।  भारतीय चुनाव आयोग (Election Commission of India) ने हिमाचल प्रदेश में चुनाव का बिगुल बजा दिया है।  आयोग ने कहा कि चुनाव कार्यक्रम को जारी करने से पहले कोविड को लेकर भी आवश्यक जानकारी जुटाई गई है। ये जानकारी मिली है कि मौजूदा में कोविड के हालात चिंताजनक नहीं हैं। हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनावों की तारीख आ गई है। चुनाव आयोग ने शुक्रवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस करके विधानसभा चुनावों को लेकर पूरा ब्यौरा दे दिया है। हिमाचल प्रदेश में 12 नवंबर को वोटिंग होगी और मतों की गिनती 8 दिसंबर को होगी। इसका मतलब है कि हिमाचल प्रदेश को 8 दिसंबर को नई सरकार मिल जाएगी।   

 

 

 

 

 

 

 

 

हिमाचल में चुनाव की अधिसूचना (Notification of Himachal Election) 17 अक्तूबर को जारी होगी। नामांकन वापिस लेने की अंतिम तिथि 25 अक्तूबर तय की गई है। नामांकन पत्रों की छंटनी 27 अक्तूबर को होगी। मतदान 12 नवंबर 2022 को होगा। 8 दिसंबर 2022 को मतगणना होगी। चुनाव प्रक्रिया 10 दिसंबर 2022 को पूरी होगी।   चुनाव आयोग ने कहा है कि हिमाचल प्रदेश में 55 लाख वोटर हैं। इनमें 27 लाख 80 हजार पुरुष और 27 लाख 27 हजार महिलाएं हिस्सा लेंगी। चुनाव में शामिल सेवा कर्मियों की संख्या 67 हजार 532 होगी। इसके अलावा PWD 56,001 होगी। इसके अलावा 80 साल से ज्यादा उम्र के 1.22 लाख मतदाता हैं। इसके साथ ही 1184 मतदाता ऐसे हैं, जिनकी उम्र 100 साल से ज्यादा है।  

 

 

 

 

आयोग ने बताया कि हिमाचल (Himachal Assembly) की अवधि 8 जनवरी 2023 को पूरी हो रही है। हिमाचल प्रदेश विधानसभा (Himachal Pradesh Assembly) का कार्यकाल 8 जनवरी 2023 को समाप्त हो रहा है। आयोग ने हाल ही में चुनाव तैयारियों का जायजा लेने के लिए हिमाचल प्रदेश और गुजरात का दौरा किया था। भारतीय मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि मतदान की तारीख तक नए मतदाताओं को वोटरलिस्ट में शामिल किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि जिला निर्वाचन अधिकारियों को ये निर्देश दिए गए हैं कि हरेक विधानसभा क्षेत्र में ऐसे पोलिंग बूथ को चिन्हित करें, जहां मतदान की प्रतिशतता सबसे कम रही हो, ताकि इसे इस बार बढ़ाया जा सके।

हिमाचल प्रदेश में क्या है सीटों का गणित? 


हिमाचल प्रदेश विधानसभा में 68 सीटें हैं। 2017 में इतनी ही सीटों पर चुनाव हुए थे। तब राज्य की 17 विधानसभा सीटें अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित थीं, जबकि तीन सीटें अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित थीं। राज्य में 48 विधानसभा सीटें सामान्य वर्ग के लिए थीं। पिछले विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 44, कांग्रेस ने 21 और अन्य ने तीन सीटों पर जीत दर्ज की थी। 


 

बता दें कि हिमाचल की मौजूदा विधानसभा का कार्यकाल 8 जनवरी 2023 को पूरा हो रहा है। अहम बात ये है कि इस बार भारतीय निर्वाचन आयोग ने हिमाचल व गुजरात के चुनाव एक साथ घोषित नहीं किए गए हैं। भारतीय मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि मतदान की तारीख तक नए मतदाताओं को वोटरलिस्ट में शामिल किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि जिला निर्वाचन अधिकारियों को ये निर्देश दिए गए हैं कि हरेक विधानसभा क्षेत्र में ऐसे पोलिंग बूथ को चिन्हित करें, जहां मतदान की प्रतिशतता सबसे कम रही हो, ताकि इसे इस बार बढ़ाया जा सके।  चुनाव आयोग ने ये भी फैसला लिया है कि चुनावी राज्यों में बैंकों की कैश वैन की मूमेंट का समय निर्धारित किया जाएगा। इसके मुताबिक शाम 5 बजे से सुबह 10 बजे तक कैश वैन मूव नहीं करेगी, क्योंकि उसी वैन का इस्तेमाल राजनीतिक दलों द्वारा कैश को ले जाने में किया जा सकता है।

भारतीय मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार (Chief Election Commissioner of India) ने कहा कि अक्तूबर का महीना त्यौहार का रहता है। आयोग द्वारा भी लोकतंत्र के उत्सव का ऐलान किया गया है। आयोग ने मतदाताओं से लोकतंत्र के उत्सव में बढ़चढ़ कर भाग लेने का आह्वान किया है।  

बात ये है कि भारतीय चुनाव आयोग ने प्रदेश में चुनावी कार्यक्रम का ऐलान कर दिया है। लेकिन भाजपा व कांग्रेस ने प्रत्याशियों की घोषणा नहीं की है, केवल आम आदमी पार्टी ने चार विधानसभा क्षेत्रों में ही प्रत्याशियों का ऐलान किया हुआ है।  हालांकि, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अक्तूबर महीने में हिमाचल के दो प्रवास कर चुके हैं। 24 सितंबर को मंडी जनसभा को वर्चुअल माध्यम से संबोधित किया था, क्योंकि मौसम खराब होने की वजह से वो मंडी नहीं पहुंच पाए थे।इसके बाद लगातार हिमाचल का दौरा कर रहे हैं। इसके विपरीत कांग्रेस ने ‘मिशन हिमाचल’ के अंतर्गत 14 अक्तूबर को ही शंखनाद करने का निर्णय लिया था। दोपहर सवा 2 बजे तक सोलन में कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी की रैली जारी रही। चुनाव आचार संहिता के लागू होने से कुछ देर पहले ही प्रियंका गांधी ने जनसभा को संबोधित किया। 

आपको बता दें कि चुनाव आचार संहिता (Model Code of Conduct) लागू होने के बाद रैलियों का खर्च पार्टी के खाते में जुड़ता है। प्रत्याशियों की अधिकतम खर्चे की सीमा में राष्ट्रीय नेताओं की रैली का खर्च जोड़ा जाता है। इसी कारण राजनीतिक दल आचार संहिता लागू होने से पहले धड़ाधड़ रैलियां करने की कोशिश भी करते हैं।   

खास बात ये भी है कि हिमाचल सरकार को आज दोपहर बाद चुनाव आचार संहिता लागू होने का आभास रहा होगा, यही कारण था कि सुबह ही जयराम सरकार ने मौजूदा सरकार की अंतिम कैबिनेट बैठक को बुला लिया था। इसमें कई बड़े निर्णय लिए गए। 

 

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