अंतरराष्ट्रीय मंडी शिवरात्रि मेला-2024 के लिए छोटी काशी में तैयारियां तेज, 9 मार्च को पहली जलेब

अपूर्व देवगन ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि मेले की पहली जलेब 9 मार्च को निकाली जाएगी। मध्य जलेब 12 को और तीसरी व अंतिम जलेब 15 मार्च को निकलेगी। इनमें आकर्षक झांकियां भी शामिल होंगी।

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अंतरराष्ट्रीय मंडी शिवरात्रि मेला-2024 को अब एक महीने से कम समय बचा है। इसे देखते हुए छोटी काशी मंडी में तैयारियां तेज हो गई हैं। उपायुक्त अपूर्व देवगन ने महोत्सव से जुड़े प्रबंधों की समीक्षा के लिए बुधवार को अधिकारियों की बैठक ली। अपूर्व देवगन ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि मेले की पहली जलेब 9 मार्च को निकाली जाएगी। मध्य जलेब 12 को और तीसरी व अंतिम जलेब 15 मार्च को निकलेगी। इनमें आकर्षक झांकियां भी शामिल होंगी। वहीं, 9 से 14 मार्च तक सांस्कृतिक संध्याएं भी होंगी।

मंडी। अंतरराष्ट्रीय मंडी शिवरात्रि मेला-2024 को अब एक महीने से कम समय बचा है। इसे देखते हुए छोटी काशी मंडी में तैयारियां तेज हो गई हैं। उपायुक्त अपूर्व देवगन ने महोत्सव से जुड़े प्रबंधों की समीक्षा के लिए बुधवार को अधिकारियों की बैठक ली। अपूर्व देवगन ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि मेले की पहली जलेब 9 मार्च को निकाली जाएगी। मध्य जलेब 12 को और तीसरी व अंतिम जलेब 15 मार्च को निकलेगी। इनमें आकर्षक झांकियां भी शामिल होंगी। वहीं, 9 से 14 मार्च तक सांस्कृतिक संध्याएं भी होंगी।

उपायुक्त ने कहा कि मेले में परंपरागत कला संस्कृति को प्रोत्साहन दिया जाएगा। वहीं विभिन्न विभागों की जन जागरण गतिविधियों पर भी बल रहेगा। उन्होंने सभी विभागों से इस अवसर को जन जीवन से जुड़े महत्वपूर्ण मुद्दों पर जन जागरूकता लाने में उपयोग करने को कहा। मेले में स्वच्छता, बाल एवं महिला कल्याण, नशा निवारण, स्वीप गतिविधियों, मताधिकार के प्रयोग, सुखाश्रय योजना, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ समेत अन्य कल्याणकारी योजनाओं पर जन जागृति के लिए इनके व्यापक प्रचार प्रसार पर बल देने को कहा।

अंतरराष्ट्रीय मंडी शिवरात्रि मेला-2024 को अब एक महीने से कम समय बचा है। इसे देखते हुए छोटी काशी मंडी में तैयारियां तेज हो गई हैं। उपायुक्त अपूर्व देवगन ने महोत्सव से जुड़े प्रबंधों की समीक्षा के लिए बुधवार को अधिकारियों की बैठक ली। अपूर्व देवगन ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि मेले की पहली जलेब 9 मार्च को निकाली जाएगी। मध्य जलेब 12 को और तीसरी व अंतिम जलेब 15 मार्च को निकलेगी। इनमें आकर्षक झांकियां भी शामिल होंगी। वहीं, 9 से 14 मार्च तक सांस्कृतिक संध्याएं भी होंगी।

देवी-देवताओं की आवभगत में नहीं होगी कोई कमी

उपायुक्त ने कहा कि मेले में पधारने वाले देवी देवताओं की आवभगत में कोई कमी नहीं रखी जाएगी। उनके आदर सत्कार के साथ ही उनके संग आए देवलुओं के ठहरने के उपयुक्त प्रबंध होंगे। उन्होंने ठहरने के स्थानों पर बिजली-पानी समेत अन्य सभी आवश्यक व्यवस्था के समुचित प्रबंध को कहा। बता दें, अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि मेले के लिए 216 पंजीकृत देवी देवताओं को प्रशासन की ओर से पूरे विधि विधान के साथ ‘न्यूंद्रा’ दिया जाता है।

उत्सव के रंग में खिलेगी छोटी काशी

अपूर्व देवगन ने मेले के लिए मंडी शहर तथा मंदिरों की विशेष साज सज्जा को कहा। सभी कार्यालय भवन तथा मंदिर उत्सव के रंग में खिलेंगे। शहर के मुख्य द्वारों, पुलों, भवनों, मंदिरों में विशेष लाइटिंग तथा सजावट की जाएगी। मेले में जिले के स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों के प्रचार प्रसार पर भी बल रहेगा। इन उत्पादों की विशेष पैकेजिंग करके मेहमानों को भेंट किया जाएगा। वहीं, शिवरात्रि मेले के दौरान ही शहर में सरस मेले का आयोजन भी होगा। इसमें लोगों को विभिन्न राज्यों के पारंपरिक उत्पाद उपलब्ध होंगे।

अंतरराष्ट्रीय मंडी शिवरात्रि मेला-2024 को अब एक महीने से कम समय बचा है। इसे देखते हुए छोटी काशी मंडी में तैयारियां तेज हो गई हैं। उपायुक्त अपूर्व देवगन ने महोत्सव से जुड़े प्रबंधों की समीक्षा के लिए बुधवार को अधिकारियों की बैठक ली। अपूर्व देवगन ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय शिवरात्रि मेले की पहली जलेब 9 मार्च को निकाली जाएगी। मध्य जलेब 12 को और तीसरी व अंतिम जलेब 15 मार्च को निकलेगी। इनमें आकर्षक झांकियां भी शामिल होंगी। वहीं, 9 से 14 मार्च तक सांस्कृतिक संध्याएं भी होंगी।

स्वच्छता व्यवस्था का रखें ध्यान

उपायुक्त ने मेले के दौरान पड्डल समेत पूरे शहर में स्वच्छता व्यवस्था का विशेष ध्यान रखने को कहा। यह भी सुनिश्चित करने को कहा कि सिंगल यूज प्लास्टिक का प्रयोग ना हो। दुकानदारों को गीला तथा सूखा कचरा अलग रखने को लेकर जागरूक करें। स्थान चिन्हित करके पर्याप्त संख्या में कूड़ेदान लगवाएं। उन्होंने खेल प्रतियोगिता में मैदानी स्पर्धाओं पर फोकस करने को कहा।


हर पहलू पर विस्तार से चर्चा  

बैठक में मेले के आयोजन से जुड़े हर पहलू पर विस्तार से चर्चा की गई । इस दौरान जलेब, शहर तथा मंदिरों की सजावट, वित्तीस स्रोत प्रबंधों, पड्डल मैदान के आबंटन तथा अन्य व्यवस्था, देवी देवताओं के आदर-सत्कार तथा ठहराने के अच्छे प्रबंधों, सांस्कृतिक संध्याओं के आयोजन, खेलकृद प्रतियोगिता, स्मारिका प्रकाशन, विभागों की विकासात्मक प्रदर्शनी, मेहमानों के स्वागत, साफ सफाई व स्वच्छता व्यवस्था, यातायात व्यवस्था, बिजली-पानी के समुचित प्रबंध, सुरक्षित खाद्य पदार्थो की बिक्री, स्वास्थ्य प्रबंध, अग्निशमन की व्यवस्था, सड़कों की मरम्मत, स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों के प्रचार प्रसार इत्यादि विषयों पर विचार विमर्श किया गया।

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