Himachal: लाखों लाभार्थियों को झटका, इस वजह से नहीं आएगी सामाजिक सुरक्षा पेंशन

सामाजिक सुरक्षा पेंशन के तहत हिमाचल प्रदेश में 6.35 लाखों लाभार्थियों को वृद्धावस्था, विधवा और अपंगता पेंशन मिलती है। पेंशन लेने वाले हजारों लाभार्थियों के खुद के ज्वाइंट बैंक खाते हैं।
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शिमला। हिमाचल प्रदेश के सामाजिक सुरक्षा पेंशन (Social Security Scheme) धारकों को बड़ा झटका लगने वाला है। जिन सामाजिक सुरक्षा पेंशन धारकों के ज्वाइंट बैंक खाते हैं, उन्हें सामाजिक सुरक्षा पेंशन नहीं मिलेगी। सामाजिक सुरक्षा पेंशन धारकों को अब व्यक्तिगत खाते खुलवाने होंगे। सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग अब व्यक्तिगत बैंक खाता धारकों के खाते में ही पेंशन का भुगतान करेगा।

सामाजिक सुरक्षा पेंशन के लिए अब पेंशन धारक लाभार्थी का स्वयं का अलग से खाता होना अनिवार्य कर दिया गया है। जिन लाभार्थियों के ज्वाइंट खाते में सामाजिक सुरक्षा पेंशन आती है, उन्हें तहसील कल्याण अधिकारी या जिला कल्याण अधिकारी कार्यालय में अलग खाता नंबर देना होगा। इसके बाद लाभार्थी के व्यक्तिगत खाते में पेंशन की राशि आएगी। 


 
सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के तहत लोगों को वृद्धावस्था, विधवा और अपंगता पेंशन मिलती है। पेंशन लेने वाले सैकड़ों लाभार्थियों के खुद के खाते नहीं हैं। पत्नी या पति के साथ ज्वाइंट खाते हैं। पहले तो इस ज्वाइंट खाते में उस लाभार्थी की या दोनों पति-पत्नी की पेंशन आती रही है, लेकिन अब पति का अलग और पत्नी के लिए अलग बैंक खाता अनिवार्य है। 


वृद्धावस्था पेंशन लेने वाले अधिकतर पात्र दंपतियों के ज्वाइंट खाते हैं। उन्हें उनमें ही पेंशन आती है, लेकिन अब उन्हें अलग-अलग खाता नंबर देने होंगे। हिमाचल प्रदेश में सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 6.35 सामाजिक सुरक्षा पेंशन के लाभार्थी हैं। इनमें हजारों ऐसे हैं, जिनके ज्वाइंट खाते हैं। ऐसे में अब सामाजिक सुरक्षा पेंशन के लाभार्थियों को विभाग में अपने व्यक्तिगत बैंक खाते जमा करवाने होंगे, तभी उन्हें पेंशन मिलेगी।

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