Himachal Gov't : सुक्खू की कैबिनेट नहीं होगी कोई महिला मंत्री, जानें वजह

हिमाचल में रिवाज जारी रखते हुए जनता ने कांग्रेस पार्टी को बहुमत तो दे दिया है, लेकिन पार्टी की कोई भी महिला प्रत्याशी जीतकर विधानसभा नहीं पहुंच पाई हैं। ऐसे में सरकार में कोई भी महिला मंत्री नहीं होगी। 

 

शिमला। हिमाचल प्रदेश में पहली बार कोई महिला मंत्री नहीं होगी। हिमाचल में रिवाज जारी रखते हुए जनता ने कांग्रेस पार्टी को बहुमत तो दे दिया है, लेकिन पार्टी की कोई भी महिला प्रत्याशी जीतकर विधानसभा नहीं पहुंच पाई हैं। हिमाचल प्रदेश के इतिहास में शायद यह पहला मौका हो, जब मौजूदा सरकार में कोई भी महिला मंत्री नहीं होगी। 

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कांग्रेस पार्टी ने हिमाचल विधानसभा चुनाव में तीन वरिष्ठ महिलाओं नेत्रियों को चुनावी मैदान में उतारा था। इनमें डलहौजी से आशा कुमारी, पच्छाद से दयाल प्यारी और मंडी से चंपा ठाकुर को टिकट दिया गया था। यह तीनों ही चुनाव हार गईं हैं। अब कांग्रेस सरकार में कोई भी महिला प्रत्याशी हिमाचल की महिलाओं का प्रतिनिधित्व करते हुए सदन में नहीं दिखेगी।

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पुरुष ही बनेगा महिला विकास मंत्री

मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू चाहकर भी अपने मंत्रिमंडल में किसी महिला को जगह नहीं दे पाएंगे। दरअसल कांग्रेस के जीतने वाले 40 विधायकों में एक भी महिला विधायक नहीं है। इसलिए मुख्यमंत्री पुरुष मंत्री को ही महिला विकास मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपेंगे।

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68 विधायकों में सिर्फ एक महिला 

प्रदेश के 68 विधानसभा क्षेत्रों में हुए चुनाव में केवल एक महिला प्रत्याशी चुनाव जीतकर आगे आई है। भाजपा की टिकट पर पच्छाद से केवल एक महिला रीना कश्यप ने चुनाव जीता है। यही एकमात्र महिला विधायक हिमाचल की 35 लाख महिलाओं का प्रतिनिधित्व विधानसभा में करेंगी। यूं कहें कि हिमाचल के इतिहास में ऐसा पहली बार है, जब विधानसभा में सिर्फ एक महिला विधायक मौजूद रहेगी।

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24 महिलाएं थी चुनाव मैदान में

हिमाचल की 68 सीटों पर कुल 412 प्रत्याशियों ने चुनाव लड़ा। इनमें महिलाओं की संख्या 24 थी। इनमें से भी केवल एक महिला प्रत्याशी ही चुनाव जीती। इस बार भाजपा ने पांच, कांग्रेस ने तीन और आम आदमी पार्टी ने भी पांच महिलाओं को टिकट दिया था। मगर पच्छाद से भाजपा प्रत्याशी रीना कश्यप ही चुनाव जीतीं । भाजपा और कांग्रेस की दोनों दिग्गज नेत्रियां आशा कुमारी और सरवीण चौधरी चुनाव हार गईं।