अब मोबाइल नेटवर्क की समस्या से छुटकारा, BSNL ने लॉन्च की सैटेलाइट-टू-डिवाइस सर्विस

भारत सरकार की टेलीकॉम कंपनी BSNL ने देश में सैटेलाइट-टू-डिवाइस सर्विस लॉन्च कर दी है, और इस तरह से वह देश की पहली कंपनी बन गई है, जो यह सुविधा प्रदान कर रही है। इस नई सर्विस की मदद से अब आपको नेटवर्क की समस्या से जूझने की जरूरत नहीं होगी।
 

भारत सरकार की टेलीकॉम कंपनी BSNL ने देश में सैटेलाइट-टू-डिवाइस (Satellite-to-Device) सर्विस लॉन्च कर दी है। इसके साथ ही BSNL देश की पहली कंपनी बन गई है, जो यह सुविधा प्रदान कर रही है। इस नई सर्विस की मदद से, अब आपको नेटवर्क की समस्या से जूझने की जरूरत नहीं होगी, क्योंकि यह सेवा सैटेलाइट के माध्यम से सीधे आपके डिवाइस पर उपलब्ध होगी, चाहे आप कहीं भी हों और नेटवर्क की कोई समस्या हो।

 

Viasat के साथ साझेदारी

BSNL ने इस सर्विस के लिए अमेरिकी सैटेलाइट कम्युनिकेशन कंपनी Viasat के साथ साझेदारी की है। हाल ही में, इंडियन मोबाइल कांग्रेस 2024 में इस सर्विस का सफल डेमो भी पेश किया गया था, जिसमें टू-वे मैसेजिंग सर्विस का प्रदर्शन किया गया। इस नई सेवा के साथ, BSNL ने टेलीकॉम क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण कदम आगे बढ़ाया है और अब वह अन्य टेलीकॉम कंपनियों से एक कदम आगे निकल चुका है।

सैटेलाइट-टू-डिवाइस सर्विस के फायदे

यह नई सर्विस उन क्षेत्रों में बेहद उपयोगी साबित होगी, जहां टेलीकॉम टावरों की पहुंच नहीं है। आमतौर पर, टेलीकॉम सर्विस का उपयोग करने के लिए हमें नेटवर्क टावर की आवश्यकता होती है, लेकिन सैटेलाइट-टू-डिवाइस सर्विस के माध्यम से यह समस्या हल हो जाएगी। इस प्रक्रिया में, सैटेलाइट के माध्यम से सीधे डिवाइस तक सेवा पहुंचाई जाएगी, जिससे रिमोट एरियाज में भी बेहतर कनेक्टिविटी सुनिश्चित होगी।

डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकम्युनिकेशन की पुष्टि

डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकम्युनिकेशन (DoT) ने इस सर्विस के लॉन्च की पुष्टि करते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर पोस्ट किया, जिसमें लिखा था, "BSNL ने देश की पहली Satellite-to-Device सर्विस लॉन्च की है, अब भारत के रिमोट एरिया तक भी आसानी से कनेक्टिविटी मिलेगी।"


Viasat का डेमो और भविष्य की संभावना

Viasat ने पहले टू-वे कम्युनिकेशन और इमरजेंसी SOS मैसेजिंग सर्विसेस का डेमो दिखाया था। इस डेमो में एक कमर्शियल एंड्रॉयड स्मार्टफोन का इस्तेमाल कर नॉन-टेरेस्ट्रियल नेटवर्क (NTN) कनेक्टिविटी के माध्यम से संदेश भेजे गए थे। इसके तहत, 36 हजार किलोमीटर दूर स्थित Viasat के L-बैंड सैटेलाइट से संदेश भेजे गए थे।

नई तकनीकी की संभावनाएं

Viasat ने बताया था कि इस डायरेक्ट-टू-डिवाइस कनेक्टिविटी की मदद से न केवल मोबाइल, बल्कि स्मार्टवॉच, कार्स, इंडस्ट्रियल मशीनरी और ट्रांसपोर्ट ऑपरेटर्स भी सैटेलाइट और टेरेस्ट्रियल नेटवर्क से कनेक्ट रह सकेंगे। हालांकि, BSNL और Viasat ने इस सर्विस की उपलब्धता, रीजन और कीमत के बारे में कोई आधिकारिक जानकारी साझा नहीं की है।